Vastu tips 2022: जानें बेडरूम वास्तु शास्त्र से जुडे़े महत्वपूर्ण नियम
बैडरूम वास्तु शास्त्र: कई बार किसी घर में बहुत-सी चीजों का अभाव होने के बाद भी वह घर सुख-समृद्धि से भरा रहता है। साथ ही उस घर में सभी सदस्य हमेशा खुश रहते हैं। लेकिन कई बार सारी सुख-सुविधा होने के बावजूद भी घर में अशांति रहती है। इसी के साथ घर में पति-पत्नी के बीच मनमुटाव बना रहता है। लेकिन अब सवाल यह उठता है कि आखिर यह सब होता क्यों है? आपको बता दें कि ऐसा वास्तु दोष के कारण होता है। अगर किसी घर में वास्तु दोष है, तो उस घर में परेशानियां बनी रहेगी। कई बार बैडरूम वास्तु शास्त्र के कारण भी घर में परेशानी उत्पन्न हो जाती हैं।
इसीलिए बेडरूम वास्तु शास्त्र घर के लिए बहुत जरूरी माना जाता है। आपको बता दें कि वास्तु शास्त्र के अनुसार घर को सही दिशा में बनाना, खिड़की, बेडरूम की दिशा, बेडरूम का रंग आदि बेहद जरूरी होता है। क्योंकि अगर यह सब चीजें ध्यान में ना रखी जाए, तो घर में वास्तु शास्त्र वास्तु दोष उत्पन्न हो जाता है, जिसके कारण जातक को अपने जीवन में नकारात्मक परिणामों का सामना करना पड़ता है। साथ ही उसे सभी क्षेत्रों में असफलता का सामना करना पड़ता है।
वास्तु शास्त्र काफी महत्वपूर्ण माना जाता है। क्योंकि अगर वास्तु दोष उत्पन्न ना हो, तो जातक को परेशानियों का सामना नहीं करना पड़ता और उसके जीवन में सुख-समृद्धि बनी रहती है। लेकिन अगर जातक के घर या बेडरूम में वास्तु दोष उत्पन्न हो जाता है, तो उसे परेशानियों का सामना करना पड़ता है। जिसके कारण घर में अशांति का भाव रहेगा और साथ ही पति-पत्नी के बीच संबंध भी अच्छे नहीं रहेंगे। इसीलिए वास्तु शास्त्र के अनुसार चीजों को करना बेहद जरूरी माना जाता है।
अगर आप वास्तु नियमों का पालन करते हैं, तो आपको अपने जीवन में परेशानियों का सामना नहीं करना पड़ेगा। साथ ही वास्तु दोष उत्पन्न होने वाली परेशानियां भी समाप्त हो जाएंगे इसीलिए बेडरूम वास्तु शास्त्र बेहद जरूरी माना जाता है।
बेडरूम वास्तु शास्त्र के अनुसार दिशा
वास्तु शास्त्र के अनुसार दिशा बेहद महत्वपूर्ण मानी जाती हैं।
बेडरूम के लिए उत्तर या उत्तर-पश्चिम दिशा शुभ होती है।
साथ ही इस दिशा में कमरा होने से पति पत्नी के आपसी संबंधों में प्रगाढ़ता आती है।
जिसके कारण जीवन में प्रेम बना रहता है।
इसी के साथ संबंधों, जुड़ाव और दक्षता के लिए दक्षिण-पश्चिम में बेडरूम होने से पति-पत्नी लगातार अपने-अपने कार्यों में दक्षता हासिल करते हैं।
वहीं दोनों मिलकर अपने परिवार का ध्यान रखते हैं।
इसी के साथ पश्चिम दिशा में बना बेडरूम जीवन के हर क्षेत्र में दांपत्य को लाभ देता है।
वहीं पति-पत्नी को उत्तर-पूर्व दिशा के कमरे में या इस दिशा की ओर बेड नही लगाना चाहिए।
इसी के साथ अग्नि के दिशा क्षेत्र दक्षिण-पूर्व में बेडरूम होने से पति-पत्नी का व्यवहार बिना बात आक्रामक हो जाता है।
कई बार छोटी-छोटी बातों पर गुस्सा करना और लड़ाई झगड़े होने की वजह बनता है।
साथ ही दक्षिण दिशा में बैडरूम होने से इस बेवजह का खर्च भी बढ़ता है।
ऐसा इसलिए होता है क्योंकि आग्नेय कोण में सोने पर क्रोध अपनी चरम सीमा पर होता है।
बेडरूम वास्तु शास्त्र के अनुसार रंग
आपको बता दें कि बेडरूम में हरा या नीला, गुलाबी आदि रंग का प्रयोग शुभ होता है।
वास्तु शास्त्र के अनुसार यह रंग शुभ माने जाते है। इससे बेडरूम में शांति बनी रहती है।
बच्चों के कमरे में काला, नीला और हरा रंग उत्तम माना जाता है।
साथ ही बेडरूम दक्षिण-पश्चिम दिशा में होना चाहिए। और आपको नीला रंग का प्रयोग करना चाहिए।
वही बेडरूम में आपको लाल रंग का प्रयोग नहीं करना चाहिए। क्योंकि यह रंग खतरे का संकेत होता है।
घर में किसी भी कमरे में लाल रंग का प्रयोग नहीं करना चाहिए।
लाल रंग बहादुरी और शक्ति का प्रतीक माना है। जिस वजह से दिमाग पर इसका असर काफी तेजी से होता है।
साथ ही जो बेडरूम दक्षिण-पश्चिम दिशा में होते है वहां पर गुलाबी रंग शुभ माना जाता है।
वहीं बेडरूम में आसमानी रंग का प्रयोग करना उत्तम माना जाता है।
आसमानी रंग को नई शुरुआत, सुख-शांति का प्रतीक माना जाता है।
साथ ही सफ़ेद रंग को भी सबसे सही माना जाता है।
सफेद रंग के साथ हर रंग का तालमेल अच्छे से होता है। और सफ़ेद रंग पवित्रता, शांति, सुन्दरता का प्रतीक माना जाता है।
जिन लोगो को नई-नई शादी हुई है उनके बेडरूम में हल्के बैंगनी रंग का इस्तेमाल करना शुभ माना जाता है।
इस रंग से रिश्ता काफी मजबूत बनता है।
साथ ही एक ही बेडरूम की चारों दीवारों पर अलग-अलग रंग का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए।
ऐसा करने से रिश्तों में और घर में तनाव बढ़ जाता है।
साथ ही घर में लाल, काला रंग से बचना चाहिए।
यह रंग राहु, शनि, मंगल और सूर्य का प्रतिनिधित्व करते है, जिससे यह रंग जाता के लिए शुभ नहीं होते।
वास्तु शास्त्र से जुड़े महत्वपूर्ण नियम
आपको बता दें कि बेड को बीम के नीचे नहीं लगाना चाहिए।
बीम अलगाव का प्रतीक माना जाता है। वहीं आपको बीम के नीचे बांसुरी या विंड चाइम लगाना चाहिए।
बेडरूम वास्तु शास्त्र के अनुसार बेडरूम में आईना नहीं होना चाहिए।
अगर बेडरूम में आइना है, तो सोते वक्त उसे ढककर अवश्य रखें।
वहीं बेडरूम में फर्नीचर लोहे का और आकार में धनुषाकार, अर्धचंद्राकार या वृत्ताकार नहीं होना चाहिए।
आयताकार, चौकोर लकड़ी के फर्नीचर शुभ माने गए हैं।
साथ ही वास्तु दोष से बचने के लिए कमरे में लाइट बहुत तेज नहीं होनी चाहिए। और न ही पलंग पर सीधा प्रकाश पड़ना चाहिए।
वहीं प्रकाश हमेशा पीछे या बाई ओर से आना चाहिए।
हमेशा दक्षिण या पूर्व दिशा में सिर करके सोएं, ताकि पृथ्वी के चुंबकीय क्षेत्र के अनुसार आप दीर्घायु और गहरी नींद प्राप्त कर पाए।
आपको बता दें कि शयनकक्ष में बहती नदी या झरने की तस्वीरें या फिर नुकीले बर्फ के पहाड़ या एक्वेरियम कभी न रखें।